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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज मध्य प्रदेश के जनजातीय बहुल झाबुआ जिले में 7,300 करोड़ रुपये से अधिक की विकास परियोजनाओं का शुभारंभ किया।

प्रधानमंत्री ने इस क्षेत्र के जनजातीय लोगों के कल्‍याण के लिए कई पहलों की शुरुआत की और शिलान्‍यास किया। उन्होंने आहार अनुदान योजना के अंतर्गत लगभग दो लाख महिला लाभार्थियों को आहार अनुदान की मासिक किस्‍त उपलब्ध कराई।

श्री मोदी ने स्‍वामित्‍व योजनाके लाभार्थियों को 1 लाख 75 हजार अधिकार अभिलेख वितरित किये। उन्होंने प्रधानमंत्री आदर्श ग्राम योजना के अंतर्गत 559 गांवों के लिए लगभग 55 करोड़ रुपये अंतरित किये।

प्रधानमंत्री ने झाबुआ में सीएम राइज स्‍कूल का शिलान्यास किया।

श्री मोदी ने धार और रतलाम जिलों के एक हजार से अधिक गांवों के लिए पेयजल आपूर्ति योजना की आधारशिला रखी। उन्होंने झाबुआ जिले की पचास गांव पंचायतों के लिए अमृत और नल-जल योजना के अंतर्गत 14 शहरी जलापूर्ति योजनाओं का शिलान्‍यास किया।

प्रधानमंत्री ने रतलाम और मेघनगर रेलवे स्‍टेशनों के पुनर्विकास, इंदौर-देवास-उज्‍जैन रेलमार्ग के सी-केबिन के दोहरीकरण, इटारसी-यार्ड रीमॉडलिंग और बरखेरा-बुदनी-इटारसी को जोड़ने वाली तीसरी लाइन का शिलान्‍यास और लोकार्पण किया।

प्रधानमंत्री ने मध्यप्रदेश में 3275 करोड़ रुपए से अधिक लागत वाली सड़क विकास परियोजनाएं भी राष्ट्र को समर्पित कीं।

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा है कि पिछले दस वर्षों के दौरान सरकार जनजातीय समाज के उत्थान, गौरव और सम्मान के लिये समर्पित रही है। मध्यप्रदेश के झाबुआ में आयोजित जनजातीय महाकुम्भ को सम्बोधित करते हुए उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी की डबल इंजन की सरकार ने जनजातियों के सशक्तिकरण और विकास की हर गारण्टी पूरी की गई है। प्रधानमंत्री ने कहा कि जनजातीय समाज हमारे लिए वोट बैंक नहीं है बल्कि वह देश का गौरव है और देश के उज्जवल भविष्य की गारण्टी है।

श्री मोदी ने कहा कि भारतीय जनता पार्टी की सरकार ने वन उत्पादों पर न्यूनतम समर्थन मूल्यों में रिकार्ड बढोतरी की है। सरकार ने न्यूनतम समर्थन मूल्य के दायरे में आने वाले वन उत्पादों की संख्या में  बढोतरी कर इसे दस से 90 कर दिया है। उन्होंने कहा कि जनजातीय उत्पादों को बाजार उपलब्ध कराने के लिए वन धन केंद्र खोले गये हैं।