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उत्तर प्रदेश में उप-चुनाव को लेकर तमाम राजनीतिक दल अपनी तैयारियों को आखिरी रूप देने में लगे हैं। इस चुनाव में अलग-अलग पार्टियां मतदाताओं तक पहुंचने के लिए नारों का भी जमकर सहारा ले रहे हैं। पहले जहां भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) ने बटेंगे तो कटेंगे का नारा दिया था, वहीं अब इस क्रम में समाजवादी पार्टी (सपा) भी शामिल होती दिख रही है। सपा ने बीजेपी के ‘बंटेंगे तो कटेंगे’ के नारे के जवाब के तौर पर ‘जुड़ेंगे तो जीतेंगे’ का नारा दिया है। पार्टी ने लखनऊ में ‘जुड़ेंगे तो जीतेंगे’ के नारे वाले कई पोस्टर भी लगवाए हैं।

लखनऊ में लगाए गए पोस्टर

सपा के जुटेंगे तो जीतेंगे के नारे के जवाब में बीजेपी ने कहा कि जो हमेशा बांटने का प्रयास करते रहे हैं, आज जोड़ने के बात कर रहे हैं। सीएम योगी ने जब बंटोगे तो कटोगे का नारा का क्या दिया तो अब सब जोड़ने की बात कर रहे हैं। अगर आपको जोड़ना है तो आपको सबका साथ सबका विकास के मंत्र पर काम करना होगा और सबको साथ लेकर चलना होगा। सिर्फ दिखावे के लिए पोस्टर लगा देने से ये नहीं होने वाला है।

कुछ दिन पहले बीजेपी ने दिया था बटेंगे तो कंटेगे का नारा

“बंटेगें तो कटेंगे…”, यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ का ये नारा हरियाणा चुनाव में भी पार्टी के लिए वरदान साबित हुआ था। पीएम नरेन्द्र मोदी ने महाराष्ट्र के एक कार्यक्रम में इसका समर्थन भी किया था। अब तो आरएसएस भी इस मुद्दे पर साथ दिख रहा है। आपको बता दें कि यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 26 अगस्त को पहली बार इस नारे का इस्तेमाल किया था। उन्होंने उस दौरान ये नारा बांग्लादेश में हिंदुओं पर हो रहे हमलों के संदर्भ में दिया था। हालांकि, अब इस चुनावी माहौल में ये नारा बीजेपी का बीज मंत्र सा बन गया है। इस नारे की पहली परीक्षा यूपी के उप चुनाव से लेकर महाराष्ट्र और झारखंड के चुनाव में होने वाली है। इन चुनावों के परिणाम आने के बाद ही ये और साफ हो पाएगा कि बीजेपी को इस नारे का इन राज्यों के चुनाव में भी कितना फायदा पहुंचा है।

उपचुनाव में सभी 9 सीटों पर लडे़गी सपा

समाजवादी पार्टी (सपा) अध्यक्ष अखिलेश यादव ने एलान किया था कि अब उनकी पार्टी यूपी की सभी 9 सीटों पर उपचुनाव लड़ेगी। पहले उन्होंने दो सीटें कांग्रेस के लिए छोड़ दी थी, लेकिन कांग्रेस और ज्यादा सीटें चाहती थी। यूपी की सभी नौ सीटों पर 13 नवंबर को मतदान होंगे और नतीजे 23 नवंबर को आएंगे।

समाजवादी पार्टी सपा) यूपी उपचुनाव में 9 सीटों पर चुनाव लड़ रही है। इस बार चुनाव में समाजवादी पार्टी और भारतीय जनता पार्टी के बीच सीधा मुकाबला है। यह चुनाव भविष्य में होने वाले दूसरे चुनाव के लिहाज से भी बेहद खास माना जा रहा है।

उधर अखिलेश यादव का यह नारा महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में इंडिया गठबंधन की एकता के संदर्भ में भी समझा जा रहा है। महाराष्ट्र में सपा ने 9 निर्वाचन क्षेत्र से पार्टी प्रत्याशियों का पर्चा दाखिल करवाया है। अखिलेश ने अपने महाराष्ट्र दौरे के दौरान पार्टी के रूख को स्पष्ट कर दिया था और नौ सीटों की दावेदारी ठोकी थी। महाराष्ट्र में 4 नवंबर का नाम वापसी का आखिरी दिन है। देखना यह है कि महाराष्ट्र में अखिलेश का ‘जुड़ेंगे तो जीतेंगे’ नारा इंडिया गठबंधन में लागू होता है यह फिर कुछ सीटों पर दोस्ताना मुकाबले की स्थिति उत्पन्न होती है।